What is FAT file system
प्रत्येक ऑपरेटिंग सिस्टम के अन्दर फाइल्स को व्यवस्थित रूप से रखने के लिए फाइल सिस्टम का प्रयोग किया जाता है जिसे cluster कहते है | विभिन्न प्रकार के ऑपरेटिंग सिस्टम विभिन्न प्रकार के फाइल सिस्टम का प्रयोग करते है | FAT, NTFS इत्यादि कई फाइल सिस्टम है | DOS, FAT फाइल सिस्टम का प्रयोग करता है |
FAT का पूरा नाम File Allocation Table है जिसका प्रयोग डिस्क में फाईलो के संग्रहण का रिकॉर्ड रखने के लिए होता है |सबसे पहले फैट का प्रयोग सन 1980 में टिम पैटर्सन (Tim paterson ) ने अपने 86-Dos में किया था | फैट के प्रमुख प्रकार FAT12,FAT16, FAT32,etc |
FAT File हार्ड डिस्क को छोटे छोटे खंडो में विभाजित करती है |जिन्हें क्लस्टर कहते है |क्लस्टर सामान्यतः एक या एक से अधिक सेक्टर्स के समूह से बनते है |जिनमे सेक्टर्स की संख्या डिस्क के घनत्व पर निर्भर करती है, यह संख्या 1 से 128 सैक्टर प्रति क्लस्टर हो सकते है | जब हम कोई फाइल सेव करते है तो यह अपने आकार के अनुसार डाटा एरिया में एक या एक से अधिक क्लस्टर में संग्रहित होती है |प्रत्येक क्लस्टर एक यूनिक सीरियल नंबर द्धारा पहचाना जाता है जिसकी प्रविष्टि फाइल एलोकेशन टेबल में होती है | और इस प्रकार फैट में होने वाली प्रत्येक क्लस्टर एंट्री के साथ एक छोटा मेमोरी ब्लाक जुड़ा रहता है जिसमे अंक के रूप में शून्य या किसी अन्य क्लस्टर का सीरियल नम्बर संग्रहित रहता है जंहा शून्य यह दर्शाता है की क्लस्टर खाली है |
जबकि अन्य क्लस्टर का नंबर यह दर्शाता है की क्लस्टर किसी फाइल द्धारा उपयोग किया जा रहा है फाइल द्धारा उपयोग किया गया पहला क्लस्टर रूट डायरेक्ट्री के माध्यम से उपलब्ध खाली क्लस्टर में से लिया जाता है और अगर फाइल का आकार एक क्लस्टर से अधिक बड़ा है तो उसका शेष भाग किसी अन्य क्लस्टर में संगृहीत होता है जिसका सीरियल नंबर तुरंत पहले क्लस्टर की फैट प्रविष्टि (FAT Empty) में स्टोर हो जाता है इस प्रकार श्रंखला और भी आगे बढ़ जाती है |
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